(Pradhan Mantri Mudra Yojana PMMY): शिशु, किशोर, तरुण लोन की नई सीमा क्या है? जानें पात्रता, ब्याज दरें और 52 करोड़ लाभार्थियों की सक्सेस स्टोरी…
नई दिल्ली: अगर आप अपना कारोबार शुरू करने या उसे बढ़ाने का सपना देख रहे हैं, लेकिन पूँजी की कमी आड़े आ रही है, तो आपके लिए प्रधानमंत्री मुद्रा योजना (Pradhan Mantri Mudra Yojana – PMMY) किसी वरदान से कम नहीं है। 8 अप्रैल 2015 को शुरू हुई इस योजना ने हाल ही में अपने 10 वर्ष पूरे किए हैं, और इस दौरान 52 करोड़ से अधिक लोन आवेदनों को मंजूरी दी गई, जिसमें ₹33 लाख करोड़ से ज़्यादा की राशि वितरित की गई है।
सबसे बड़ी बात यह है कि यह योजना छोटे से छोटे व्यवसाय को भी बिना किसी गारंटी या कोलैटरल (Collateral Free) के ₹50,000 से लेकर ₹20 लाख तक का ऋण प्रदान करती है। हाल ही में इस योजना के अंतर्गत ऋण की अधिकतम सीमा को ₹10 लाख से बढ़ाकर ₹20 लाख कर दिया गया है, जिसने युवाओं और सूक्ष्म-उद्यमियों (Micro-Entrepreneurs) के लिए अवसरों के नए द्वार खोल दिए हैं।
मुद्रा लोन के प्रकार: आपकी ज़रूरत के हिसाब से कैटेगरी
प्रधानमंत्री मुद्रा योजना के तहत ऋण को मुख्य रूप से तीन श्रेणियों में बांटा गया है, जिसे ‘शिशु’, ‘किशोर’ और ‘तरुण’ नाम दिया गया है। ये श्रेणियाँ कारोबार की ज़रूरत और उसके विकास के चरण (Stage of Growth) को दर्शाती हैं। हाल ही में, कुछ वित्तीय संस्थानों ने ‘तरुण प्लस’ जैसी एक नई अनौपचारिक श्रेणी भी पेश की है।
| कैटेगरी | ऋण सीमा (Loan Limit) | उद्देश्य (Purpose) |
| शिशु (Shishu) | ₹50,000 तक | यह उन लोगों के लिए है जो बिल्कुल नया कारोबार शुरू कर रहे हैं या जिन्हें बहुत कम पूँजी की आवश्यकता है। |
| किशोर (Kishore) | ₹50,000 से ₹5 लाख तक | उन व्यवसायों के लिए जो स्थापित हो चुके हैं और अब अपने परिचालन का विस्तार करना चाहते हैं। |
| तरुण (Tarun) | ₹5 लाख से ₹10 लाख तक | स्थापित और सफल व्यवसायों के लिए जो बड़ा विस्तार, मशीनरी अपग्रेडेशन या गहरी वृद्धि चाहते हैं। |
| (तरुण प्लस) | ₹10 लाख से ₹20 लाख तक | (कुछ बैंकों द्वारा अनौपचारिक रूप से दी जाने वाली सीमा) बड़े सूक्ष्म और लघु उद्योगों को सहायता। |
प्रधानमंत्री मुद्रा योजना की मुख्य विशेषताएं (Key Features of PMMY 2025)
APY की तरह, PMMY भी कुछ ख़ास सुविधाओं के कारण छोटे कारोबारियों के बीच सबसे लोकप्रिय है:
- कोई गारंटी नहीं (Collateral Free): इस लोन की सबसे बड़ी खासियत यह है कि ₹10 लाख तक के ऋण के लिए आपको बैंक के पास कुछ भी गिरवी रखने की जरूरत नहीं होती है।
- कम ब्याज दरें: हालाँकि ब्याज दरें बैंक तय करते हैं, लेकिन यह आमतौर पर 8% से 12% के बीच होती है, जो अन्य व्यापारिक ऋणों की तुलना में अक्सर कम होती है।
- MUDRA कार्ड: ऋण खाते पर एक MUDRA डेबिट कार्ड जारी किया जाता है, जिसका उपयोग कार्यशील पूँजी (Working Capital) की ज़रूरतों को पूरा करने के लिए किया जा सकता है।
- लचीली चुकौती (Flexible Repayment): पुनर्भुगतान की अवधि को 5 साल तक बढ़ाया जा सकता है, जिससे कारोबारियों को शुरूआती वर्षों में राहत मिलती है।
❓ लोग क्या पूछ रहे हैं: पात्रता और आवेदन प्रक्रिया (People Also Ask – PAA)
1. मुद्रा लोन के लिए कौन पात्र है?
कोई भी भारतीय नागरिक जो गैर-कृषि आय-अर्जक गतिविधियों (Non-Farm, Income Generating Activities) से जुड़ा है और जिसे ₹20 लाख तक के ऋण की आवश्यकता है, वह इस योजना के तहत आवेदन कर सकता है।
- पात्र संस्थाएँ: व्यक्ति, प्रोपराइटरशिप फर्म, पार्टनरशिप फर्म, प्राइवेट लिमिटेड कंपनियाँ, दुकानें, कारीगर, छोटे मैन्युफैक्चरर्स, रिटेलर्स आदि।
- अपवाद: अगर आवेदक किसी भी बैंक या वित्तीय संस्थान का डिफ़ॉल्टर रहा है, तो वह पात्र नहीं होगा।
2. मुद्रा लोन के लिए आवेदन कैसे करें?
मुद्रा लोन के लिए आवेदन करना अब पहले से कहीं ज़्यादा सरल हो गया है:
- ऑनलाइन पोर्टल: आप सीधे उद्यम मित्र पोर्टल या जन समर्थ पोर्टल के माध्यम से ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं।
- बैंक से संपर्क: आप अपने नजदीकी सरकारी या निजी बैंक (जैसे SBI, HDFC, PNB) या NBFCs (गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों) की शाखा में जाकर भी आवेदन कर सकते हैं।
- दस्तावेज़: आवेदन के समय आपको एक बिजनेस प्लान/प्रोजेक्ट रिपोर्ट, आधार कार्ड, पैन कार्ड, पते का प्रमाण और यदि कारोबार पुराना है तो पिछले वर्षों के ITR की कॉपी की आवश्यकता होगी।
3. लोन लेने के लिए क्या कोई प्रोसेसिंग फीस लगती है?
यह बैंक पर निर्भर करता है, लेकिन कई बैंक शिशु और किशोर श्रेणी के ऋणों के लिए कोई प्रोसेसिंग शुल्क नहीं लेते हैं। तरुण श्रेणी के ऋणों के लिए, आमतौर पर ऋण राशि का 0.5% तक शुल्क लिया जा सकता है।
सफलता की कहानियाँ: मुद्रा ने कैसे बदली तकदीर?
प्रधानमंत्री मुद्रा योजना देश के लाखों लोगों के लिए ‘जॉब सीकर’ से ‘जॉब प्रोवाइडर’ बनने का जरिया बनी है।
- महिला सशक्तिकरण: इस योजना के तहत 70% से अधिक लोन महिला उद्यमियों को दिए गए हैं, जिससे महिला सशक्तिकरण को अभूतपूर्व बल मिला है।
- उदाहरण: तमिलनाडु की सरस्वती, जो पहले एक फ्लोर मिल में दिहाड़ी मज़दूर थीं, उन्होंने ₹4.86 लाख का लोन लेकर अपनी खुद की आटा चक्की शुरू की और अब वह खुद दूसरों को रोज़गार दे रही हैं।
मुद्रा योजना केवल ऋण देने की नहीं, बल्कि देश में सूक्ष्म उद्यम संस्कृति को बढ़ावा देने की एक क्रांति है। यह योजना उन सभी छोटे व्यापारियों को एक सुरक्षित आधार देती है जो अपने दम पर देश की अर्थव्यवस्था को मजबूत करना चाहते हैं।
आप मुद्रा योजना के लाभार्थियों की सफलता की कहानियों के बारे में अधिक जान सकते हैं MUDRA Yojana – Stories of success and self-reliance वीडियो में।